लोक शक्ति पार्टी ( लोकतांत्रिक ) का सिद्धांत समतावाद – लोक शक्ति पार्टी ( लोकतांत्रिक )” समतावाद “के सिद्धांतों पर आधारित विचारधारा को लेकर एक नए राष्ट्र निर्माण के लिए दृढ़ संकल्पित है
समतावाद का सिद्धांत सभी मनुष्यों के समान मूल्य और नैतिक स्थिति की संकल्पना पर बल देता है। समतावाद का दर्शन ऐसी व्यवस्था का समर्थन करता है जिसमें सम्पन्न और समर्थ व्यक्तियों के साथ-साथ निर्बल, निर्धन और वंचित व्यक्तियों को भी आत्मविकास के लिए उपयुक्त अवसर और अनुकूल परिस्थितियाँ प्राप्त हो सकें। समतावाद समाज के सब सदस्यों को एक ही शृंखला की कड़ियाँ मानता है जिसमें मज़बूत कड़ियाँ कमज़ोर कड़ियों की हालातसे अप्रभावित नहीं रह सकतीं। उसका दावा है कि जिस समाज में भाग्यहीन और वंचित मनुष्य दुःखमय, अस्वस्थ और अमानवीय जीवन जीने को विवश हों, उसमें भाग्यशाली और सम्पन्न लोगों को व्यक्तिगत उन्नति और सुख समृद्धि प्राप्त करने की असीम स्वतंत्रता नहीं दी जा सकती। वस्तुतः समतावाद स्वतंत्रता और समानता में सामंजस्य स्थापित करना चाहता है। इसे एक विवादितसंकल्पना इसलिए कहा गया है कि समानता के कई स्वरूप हो सकते हैं और लोगों के साथ समान व्यवहार करने के भी अनेक तरीके हो सकते हैं।
लोक शक्ति पार्टी ( लोकतांत्रिक ) अपनी राजनीतिक जिम्मेवारी को समझते हुए आने वाले वर्षों में अपने कार्यक्रमों के द्वारा देश के सभी राज्यों के जन जन तक पहुचने और देशहित और जनहित के लिए जनता को जागरूक करके लोकतंत्र को मजबूत बनाने के लिए कृतसंकल्प है।पार्टी देश में एक ऐसी व्यवस्था बनाने के लिए काम करेगी जिससे भारत एक सच्चा लोकतांत्रिक देश बने और जहां सबको एक समान अवसर मिले।देश की आज़ादी के लिए देश के हज़ारों देशभक्त शहीदों के सपनो का भारत बनाने की दिशा में पार्टी काम करेगी ताकि देश के शहीदों को सच्ची श्रद्धांजलि मिले।लोकशक्ति पार्टी ( लोकतांत्रिक ) का संकल्प है कि देश में एक समान शिक्षा,स्वास्थ्य व्यवस्था लागू करके सबको समानता से जीने का अवसर प्रदान किया जाए।